Craft
workshop was organised in Kilkari Patna Campus during 16-21 December 2014.
Theme of the
workshop was making different types of toys such as tortoise, birds, doll and
flowers by using walnut shells. 30 children of Kilkari were participated in
this workshop.
Objective of
this workshop is keep live our traditional craft works which are about to
vanish. Also to make children aware about these arts so that
they can learn these.
Nowadays we are forgetting these arts
which are very much liked by people earlier. But, today, due to plastic and
metal made toys, handmade toys are vanishing. These plastic and metal made toys
are harmful.
Our effort is to keep live our craft
works in our country through these workshops. So that children can see these
and play with these and our arts can live.
हस्तकला कार्यशाला का आयोजन 16 से 21/12/14
तक किलकारी पटना परिसर में किया गया|
इस कार्यशाला का थिम था अखरोट के छिलकों, जो एक वेस्ट मिटिरियल हैं, का उपयोग कर तरह-तरह
के खिलौनों जैसे: कछुआ, चिङिया, डाँल, फ़ुल का र्निमाण करना। कार्यशाला में किलकारी
के 30 बच्चें शामिल हुए।
इस कार्यशाला का उदेशय हमारी परम्परागत
हस्तकला को जीवित रखना है जो आज लुप्त होता दिख रहा है साथ ही बच्चों को इन कलाओं से
अवगत करना है ताकि वे इन कलाओं को सीखें।
हम आज इन कलाओं को भुलते जा रहे है
जो पहले लोग इन्हें काफ़ी पंसन्द करते थे लेकिन आज प्लास्टीक, मेटल जैसे खिलौनों ने
हमारी हस्तकला द्वारा र्निमित खिलौनों को लुप्त कर रही है तथा ये प्लास्टी द्वारा बनें
खिलौनों हानिकारक हैं।
हमारी कोशिश
है कि इन कार्यशालाओं के माध्यम द्वारा हमारे देश की हस्तकलाओं से भविष्य में भी इन्हें
देख तथा खेल सके और हमारी कला जीवित रहें। Craft Trainer Kush Bhaiya giving
training to the children
प्रशिक्षक कुश भईया बच्चों को
प्रशिक्षण देते हुए
Children trying themselves after
getting training
बच्चें प्रशिक्षण पाकर स्वयं खिलौने
बनाते हुए
Toys made by children
बच्चों
द्वारा बनाये गये खिलौने
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