स्ट्रॉनोमी कार्यशाला विशेषज्ञ प्रसिद्ध
खगोलशास्त्री श्री अमिताभ पांडेय बच्चों के साथ तरेगना गाँव पहुँचे जो कोईलवर के
पास परेव में है। यहाँ आर्यभट्ट का टापू अवलोकन करने गाँव से डेढ़ किलोमीटर दूर
था। कहा जाता है कि इसी स्थान से आर्यभट्ट ने चांद-तारा को देखा था। इसके बाद
विशेषज्ञ बच्चों के साथ शाम में टेलिस्कोप की सहायता से चंद्रमा, मंगल और शनि को
देखा। खास बात यह रही कि किलकारी के टेलिस्कोप से गांव वालों ने भी चांद, तारों को देखा। सुप्रसिद्ध
खगोलविद अमिताभ पाण्डे द्वारा सप्तॠषि तारे, स्पाइका, ध्रुव तारा आदि के बारे में
पूरी जानकारी दी गई। यह एक दिवसीय कार्यशाला बहुत ही रोचक और ज्ञानवर्द्धक रहा। स्ट्रॉनोमी में आज बच्चों के लिए
ब्रहांम्ड विषय को लेकर बाल अखबार लेखन कार्यशाला आरंभ की गई। इस कार्यशाला में
बच्चों को विशेषज्ञ ने ब्रहांम्ड के बारे में प्रोजेक्टर से बताया। श्री अमिताभ
पांडेय ने शाम 7 बजे से रात्रि 9 बजे तक बच्चों की टेलिस्कोप माध्यम से चाँद, तारा, शनि ग्रहों को दिखाया।
पांच दिवसीय टिकुली आर्ट कार्यशाला का समापन
प्रदर्शनी के साथ किया गया। इसमें विशेषज्ञ अशोक कुमार विश्वास के मार्गदर्शन में
बच्चों ने 32 पेन्टिंग तैयार किए। बच्चों ने टिकुली आर्ट की खासियत और मह्ता को
समझा।
ग्राफिक्स एवं वेस्ट पेपर से क्राफ्ट कार्यशाला
में आज विशेषज्ञ श्री अभिजित सिंह द्वारा ‘स्टेनसिल प्रिंट’ प्रोसेस का बच्चों ने
अभ्यास किए। ‘पेपर बॉक्स’ मेकिंग के लिए कार्ड बोर्ड सीट कटिंग का अभ्यास कराया
गया।
किलकारी समर कैम्प के
दसवें दिन बच्चों ने गर्मी को तरबूज प्रतियोगिता से मात देने की कोशिश की। ‘तरबूज खाओ’ प्रतियोगिता में
लगभग 500 बच्चें शामिल हुए। बच्चों के लिए पांच मन तरबूज मँगवाया गया। तकरीबन दो
घंटे चली इस प्रतियोगिता में बच्चों ने बड़े मजे से पंकितबद्ध होकर हिस्सा लिया। विजेता बच्चों के नाम अमित
राज, अभिषेक राज, दीवाकर कुमार शर्मा, कृष्णा कुमार, रौशन कुमार, अमन और विजय है। बच्चें टेलिस्कोप के माध्यम से चाँद, तारा, शनि ग्रहों को देखते हुए |
टिकुली आर्ट कार्यशाला का समापन प्रदर्शनी |
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